Shayari Hindi
Shayari Hindi, shayari love, shayari attitude
Shaukat Hayati
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आंखों से मेरी पर्दा हटा क्यों नहीं देते,दिल में तुम्हारे क्या है बता क्यों नहीं देते,ज़ालिम तू मुझे करता है क्यों रोज़ परेशान,एक बार ही जी भर के सज़ा क्यों नहीं देते।।💘💘💘
हर बार मुझे जख्म–ए जुदाई न दिया कर,तू मेरा नहीं तो मुझको दिखाई ना दिया कर,सच झूठ तेरी आंखों से हो जाता है जाहिर,कसमे ना उठा इतनी सफाई न दिया कर।।💘💘💘
ना कोई साथ था मेरे ना कोई साथ है मेरे,मैं तन्हा था मैं तन्हा हूँ मुझे तन्हा ही रहने दो,मेरी यह जात भी मिट्टी मेरी औकात भी मिट्टी,मैं मिट्टी था मैं मिट्टी हूं मुझे मिट्टी ही रहने दो।।💘💘💘
मेरी हस्ती को मोहब्बत में फ़ेना कौन करेगा,ये फ़र्ज़ ज़माने में अदा कौन करेगा,मेरे हाथों की लकीरों को जरा देखने नजूमी,यह देख मेरे साथ वफा कौन करेगा।।💘💘💘
ताल्लुक़ तोड़ता हूँ तोमुकम्मल तोड़ देता हूँजिसे मैं छोड़ देता हूँमुकम्मल छोड़ देता हूँ💘💘💘
New Hindi Shayari
मैं अक्सर हार जाता हूंकिसी की जीत की खातिर,किसी से जीत जाने कामेरा अपना तरीका है।।💘💘💘
बड़ी कुत्ती चीज़ है ये मोहब्बतजा मुझे नहीं करना,कि साला रुठ कोई और जाता हैऔर टूट कोई और जाता है।।💘💘💘
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